- कराता था ट्रांसफर-पोस्टिंग
शैलेश शुक्ला, गोरखपुर से
कुख्यात विकास दुबे के उज्जैन से कानपुर आने तक हुई पूछताछ और बयानों की सीडी बनाकर यूपी एसटीएफ ने शासन और प्रवर्तन निदेशालय को सौंपी है. इसमें उससे 50 से ज्यादा सवाल पूछे गए हैैं.
पूछताछ में विकास ने उससे संबंध रखने वाले कई लोगों के नाम बताए हैं, जिसमें कारोबारी, विधायक-मंत्री और बड़े अफसर शामिल हैं. सूत्र बताते हैं कि रास्ते में विकास सोया नहीं, कुछ देर के लिए सीट पर सिर टिका आंख जरूर बंद लेता था.
सूत्रों ने बताया कि विकास दुबे ने दो जुलाई को वारदात वाली रात से लेकर उज्जैन में गिरफ्तार होने तक की पूरी कहानी बतायी और मदद करने वालों के नाम बताए हैं. अपने चार बड़े करीबी कारोबारियों, 11 विधायकों-मंत्रियों और पांच उच्च पदों पर पुलिस व प्रशासनिक अधिकारियों से मित्रता होने की जानकारी दी है. उसने यह भी बताया कि उसकी संपत्तियांं कहां और किसके नाम पर हैैं.
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फोन करके करा देता था पोस्टिंग
विकास ने बताया कि सरकार और शासन में पकड़ होने के कारण ही वह फोन करके ट्रांसफर व पोस्टिंग भी करा देता था. कुछ माह पूर्व एक थानेदार और चार चौकी प्रभारियों की भी तैनाती करायी थी. 50 पुलिस वाले उसके यहां आते थे. विकास ने दो आइपीएस अधिकारियों व तीन एएसपी से भी मित्रता होने की बात भी बतायी.
सीओ मुझे बर्बाद करने की कोशिश कर रहे थे
सूत्रों के मुताबिक विकास ने बताया कि सीओ देवेंद्र कुमार मिश्र उसे बर्बाद करना चाहते थे. उसके करीबियों से कहते थे कि उसकी दूसरी टांग वे ही तोड़ेंगे.
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